नई दिल्ली- राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के एक बयान ने एक बार फिर प्रदेश की सियासत का पर बढ़ा दिया है। उन्होंने कहा वसुंधरा राजे के साथ कभी मेरी बातचीत वाले संबंध नहीं रहे वह उनकी गलती थी। जब वह 2003 के अंदर मुख्यमंत्री बनी तो उनको लोगों ने ऐसे घेर लिया कि उन्होंने परंपराओं को खत्म करवा दिया।
इंडिया टुडे ग्रुप के आज तक चैनल से बात करते हुए। सीएम गहलोत ने पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को भाजपा द्वारा साइड लाइन करने के सवाल पर कहा यह पूरी तरह से उनको पार्टी के अंदरूनी मामले में रखना मैं उसके बारे में कोई कमेंट नहीं करूंगा या मेरा काम नहीं है। यह बीजेपी का काम है।
पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे से दुश्मनी को लेकर सीएम गहलोत ने बताया कि मैं जब चुनाव जीत कर आया तो शेखावत साहब 32 सीटों पर आ गए थे उसे वक्त हम 156 सीट लेकर आए थे उसके बाद में शेखावत साहब के घर गया होली दिवाली पर हमारा आपस में आना जाना था वसुंधरा राजे जब चुनाव जीत गई तो ऐसी स्थिति बन गई। जैसे हम आपस में दुश्मन हो 5 साल तक हमारी आपस में दुश्मनी हो रही जब मैं मुख्यमंत्री बना तो थोड़ी बहुत दुश्मनी कम हुई होगी तभी हाय हैलो होने लगा।
सीएम गहलोत ने आने वाले विधानसभा चुनाव में जीत को लेकर कहा कि लोकतंत्र में पब्लिक में आप होती है। इस पब्लिक का मूड बन गया है जो काम करने आया है उसी को मौका दिया जाएगा उसने घर-घर में यह बात पहुंचा दी गई है। कि सरकार हमने देखी नहीं सरकार रिपीट करने का फैसला कर लिए पहले से परिपथ जाएगी चाहे मोदी आए या कोई और नेता हमें कोई चिंता नहीं इस बार हमारा लक्ष्य 156 सीटें जीतने का है।