नई दिल्ली – वाराणसी में सर्व सेवा संघ भवन को डराने के लिए शनिवार को पुलिस प्रशासन की टीम मौके पर पहुंच गई थी। जिसके बाद वहां पर बुलडोजर को देखकर कार्यकर्ताओं ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया हंगामा होने लगा। थोड़ी ही देर में देखते देखते सैकड़ों की संख्या में कार्यकर्ता सड़क पर आ गए। अधिकारियों ने परिसर को 3 घंटे में खाली करा लिया लेकर प्रदर्शन कार्यालय के बाहर चलता रहा। अब पुस्तकालय मेरा की किताबों को हटवाया जा रहा है।
प्रशासन की परिसर खाली कराने की चेतावनी के बाद संघ कार्यकर्ता की पुलिस से नोकझोंक तक हो गई। मुख्य गेट पर लॉक लगा दिया गया विरोध कर रहे लोगों को पुलिस ने हिरासत में लेकर पुलिस लाइन भेजा है। एडीएम सिटी के मुताबिक परिसर खाली होने के बाद ही डालने की प्रक्रिया शुरू होगी विरोध को देखते हुए वाराणसी के 12 थानों की फोर्स मौके पर आ चुकी है। इस मामले में मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा प्रशासन की कार्यवाही देश के लिए शर्म की बात है।
वाराणसी में जेपी गांधी समेत कई महापुरुषों की विरासत पर बुलडोजर चलाया जा सकता है। इसके बाद जे पी और विनोबा भावे से जुड़ा भवन अब इतिहास बन जाएगा। सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस ऋषिकेश राय और जस्टिस पंकज मित्तल की ओर से संघ की याचिका खारिज करने के बाद प्रशासन ने सख्त रुख अपनाया है।
परिसर खाली कराने की चेतावनी के बाद संघ कार्यकर्ता गेट पर बैठकर धरना देने लगे पुलिस को अंदर जाने से रोकने लगे इस दौरान कार्यकर्ताओं की पुलिस से नोकझोंक हुई उनका कहना था। कि बुलडोजर के आगे लेट जाएंगे लेकिन गांधी और जेपी की विरासत गिरने नहीं देंगे और दोस्ती करण की जानकारी के बाद कई दलों के राजनेताओं ने सर्व सेवा संघ भवन की ओर रवाना हो गए है।
सर्व सेवा संघ और उत्तर रेलवे के बीच जमीन के मालिकाना हक पर चल रहे विवाद में जिलाधिकारी यशराज लिंगम की सुनवाई के बाद रेलवे के हक में फैसला लिया गया उन्होंने सर्विस सेवा संघ का निर्माण अवैध करार देते हुए जमीन को उत्तर रेलवे की संपत्ति माना है।