नई दिल्ली- लाल डेरी वाले राजेंद्र गुढा के करीबी उदयपुर पंचवटी नगर पालिका के निलंबित अध्यक्ष रामनिवास सैनी को राजस्थान हाई कोर्ट से बड़ी राहत मिल गई। हाई कोर्ट की जयपुर बेंच के जस्टिस इंद्रजीत सिंह की अदालत में डीएलबी के 25 जुलाई के आदेश पर रोक लगा दी गई। ऐसे में अब रामनिवास सैनी उदयपुरवाटी नगर पालिका के अध्यक्ष पद पर बने रहेंगे।
रामनिवास सैनी को डीएलबी ने बागवान भर्ती में भ्रष्टाचार के आरोपी की वजह से अध्यक्ष के पद पर से निलंबित कर दिया गया था। कोर्ट में सुनवाई के दौरान सैनिक की ओर से पैरवी करने वाले अधिवक्ता सारांश सैनी ने कहा कि याचिकाकर्ता को सियासी रंजिश निकालने के लिए झूठे आरोप लगाकर पद से निलंबित करवाया गया है।
निलंबन आदेश में कहा गया था। कि अध्यक्ष ने बिना स्वीकृत पद के ही कर भगवानों को गलत तरीके से नियुक्त कर दिया कोर्ट ने यह भी दाखिल कर दी थी। की नियुक्ति पाने वाले चारों लोग अध्यक्ष सैनिक के रिश्तेदार थे। लेकिन कोर्ट के आदेश पर जब मामले की जांच की गई। तो यह आप गलत पाए गए इसके बाद रामनिवास सैनी को फिर से उदयपुरवाटी के अध्यक्ष पद पर बहस कर दिया गया है।
चेयरमैन रामनिवास सैनी मंत्री राजेंद्र गुढ़ा के बेहद करीबी 24 जुलाई को सदन में स्पीकर के सामने गुढ़ा ने लाल डायरी लहराई थी।
इसके अगले दिन 25 जुलाई को सरकार ने चेयरमैन सैनी को निलंबित कर दिया था। अब जब चेयरमैन सैनी को फिर से उनके पद पर वापस मिल गया है। तब सबसे ज्यादा खुश मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ही होंगे क्योंकि गौड़ा को भी कहीं न कहीं ऐसा लग रहा था। कि उनकी वजह से ही रामनिवास सैनी पर सरकार की गाज गिरी थी।