नई दिल्लीः बिहार में पिछले 72 घंटे से चल रहे सियासी तूफान का नतीजा रहा कि सीएम नीतीश कुमार ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। अब वे जल्द ही एनडीए के घटक दलों के साथ मिलकर सीएम पद के 9वीं बार शपथ लेंगे। नीतीश कुमार के इस फैसले से महागठबंधन के उस प्रयास को झटका लगा, जिसमें लोकसभा चुनाव में मोदी को हटाने की मेहनत कर रहे थे।
इस्तीफे के बाद सीएम नीतीश कुमार ने आरजेडी प्रमुख लालू प्रसाद यादव पर जमकर निशाना साधा है। इस बीच उन्होंने कहा कि हमारी पार्टी की राय के बाद ही मैंने इस्तीफा दिया है। बीते चार साल में नीतीश कुमार तीसरी बार सीएम पद की शपथ लेने जा रहे हैं, जिसकी तैयारी लगभग पूरी कर ली गई हैं।
नीतीश कुमार ने आरजेडी पर साधा निशाना
सीएम पद से इस्तीफा देकर राजभवन से बाहर निकले नीतीश कुमार ने लालू यादव की पार्टी पर जमकर हमला पोला है। नीतीश कुमार ने राजभवन से बाहर पत्रकारों से कहा, ‘हमारी पार्टी की राय के बाद मैंने इस्तीफा दिया। आगे उन्होंने कहा कि सरकार के सभी कामों का क्रेडिट वहीं (आरेजडी) ले रही थी, मैं काम कर रहा था लेकिन मुझे काम नहीं करने दिया जा रहा था। दोनों तरफ तकलीफ थी। इन सब बातों को देखते हुए पार्टी के लोगों ने महागठबंधन से अलग होने की राय दी।
नीतीशी बोले- एक ही पार्टी ले रही थी क्रेडिट
नीतीश कुमार जब सीएम पद से इस्तीफा देकर बाहर निकले तो उन्होंने कहा कि आप सब लोगों को बता देते हैं आज हमने इस्तीफा दे दिया और जो सरकार थी वो समाप्त हो गई। इसके साथ ही इस्तीफा देने की नौबत इसलिए आई क्योंकि सबकुछ ठीक नहीं चल रहा था। उन्होंने कहा कि हमने कुछ बोलना छोड़ दिया था, सबकी राय आ रही थी। जेडीयू की राय था चारों ओर से कहा जा रहा था, जिसके बाद हमने ये फैसला लिया।
जीतन राम मांझी की पार्टी ने भी दिया समर्थन
हम पार्टी के प्रमुख जीतन राम मांझी ने भी नीतीश कुमार को अपने चार विधायकों का समर्थन पत्र सौंप दिया है। बीजेपी के 78 विधायक, जेडीयू 45 और 4 हम पार्टी सहित सदस्यों की संख्या बढ़कर 127 हो गई है। बहुमत के जादुई आंकड़े से 5 ज्यादा है।