नई दिल्ली Gas Cylinder Link to Aadhaar: मौजूदा समय में बैंक और इनकम टैक्स रिटर्न भरने का प्रोसेस की तरह की अब गैस सिलेंडर उपभोक्ता का भी आधार प्रमाणीकरण जरुरी हो गया है। इसके लिए प्रोसेस 1 दिसंबर से ही शुरू हो गई है, जो कि पूरे महीने चलेगी। आधार प्रमाणीकरण नहीं कराने पर आगामी समय में गैस कनेक्शन को अवैध घोषित कर दिया जा सकता है।
गैस उपभोक्ताओं को संबंधित एजेंसी पर जाकर आधार के अप्रूव कराना होगा। इसके लिए एजेंसियों की तरफ से उपभओक्ताओं को मैसेज भेजा जाएगा। वहीं गैस हॉकर भी सिलेंडर डिलीवर करते समय धारक के प्रमाणीकरण के लिए कहेगा। अप्रूव में फेस स्केनिंग और फिंगर प्रिंट स्केनिंग की जाएगी।
अभी भी ये व्यवस्था
साल 2022 के बाद दिए गए काफी गैस कनेक्शन का आधार को अप्रूव किया जाता है, जबकि इससे पहले लाखों की तादाद में हुए गैस उपभोक्ताओं का आधार प्रमाणीकरण नहीं है। शहर से लेकर गांवों तक कनेक्शन की यही स्थिति है।
प्रोसेस में रहेगी ये चुनौती
गांवो में बड़ी संख्या में ऐसे उपभोक्ता है, जो कि 1-1 साल तक गैस सिलेंडर बुक नहीं कराते हैं।
वड़ी संख्या में ऐसे उपभोक्ता हैं, जिनकी मौत हो चुकी है और कनेक्शन परिजन के नाम ट्रांसफर नहीं करावाया है।
ऐसे कई उपभोक्ता हैं, जिनकी मौत हो चुकी है और कनेक्शन परिजन के नाम ट्रांसफर नहीं करवाया है।
काफी ऐसे उपभोक्ता भी हैं जिनके नाम पर कनेक्शन यहां पर है, लेकिन वह पलायन कर बाहर रहने लगे हैं।
पारदर्शीता लाना
साल 2016 से 2022 के बीच में उज्जवला स्कीम के तहत लाखों की तादाद में गैस कनेक्शन दिए गए थे। ऐसे में ये संभव है कि किसी दूसरे के नाम का गैस कनेक्शन कोई और इस्तेमाल कर रहा हो। आधार अप्रूवल से स्थिति सुधर जाएगी।
क्या है जिले की स्थिति
इसमें 90 फीसदी उपभोक्ता का अप्रूवल नहीं है।
3.50 लाख गैस उपभोक्ता है जिलेभर में।
3.15 लाख उपभोक्ताओं को करना होगा प्रमाणीकरण
पुराने उपभोक्ताओं का भी आधार प्रमाणीकरण होगा। प्रोसेस आज के ही शुरु हो रहा है, जो पूरे महीने चलेगी। प्रोसेस पूरा न होने पर तिथि आगे इजाफा हो सकता है। इसके लिए उपभोक्ताओं से भी संपर्क शुरु किया जा रहा है।