नई दिल्ली– राजस्थान में विधानसभा चुनाव को लेकर हलचल तेज है।और 25 नवंबर की तैयारी में सभी राजनीतिक पार्टियों पूरी दाम कम के साथ लगी हुई है। इस बीच एक बड़ी खबर जो निकलकर सामने आ रही है। भारतीय जनता पार्टी की तरफ से उम्मीदवारों की पहली लिस्ट जारी की थी। जिसमें 41 उम्मीदवारों के नाम शामिल किया गया है। इसमें ज्यादातर उन नेताओं का नाम काटा गया। जो पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के करीबी बताए जाते हैं। आखिरकार भारतीय जनता पार्टी इसके जरिए क्या मैसेज देना चाहती है। आइए हम आपको बताते हैं।
जानकारी के अनुसार आपको बता दे कि जिस दिन से भारतीय जनता पार्टी की पहली लिस्ट जारी हुई है। राजस्थान में सियासत तेज हो गई। ऐसे विधायक कई ऐसे नेता जो कि आप भारतीय जनता पार्टी से ही नाराज नजर आ रहे हैं। यही नहीं राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के करीबियों के टिकट काटे जाने की वजह जानने के लिए हर कोई हैरान है। और सबको इसकी वजह जानना बहुत जरूरी लग रहा है। तो आज हम आपको बताने जा रहे हैं। कि आखिरकार भारतीय जनता पार्टी क्या मैसेज देना चाहती है।क्या संदेश देना चाहती है पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के करीबियों का टिकट काट कर
भारतीय जनता पार्टी के सूत्रों की माने तो पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने जिन नाम को लेकर पर भी की थी। और कहा था कि यह नाम इस सीट से जीत सकते हैं। भारतीय जनता पार्टी का केंद्रीय नेतृत्व में उन नाम को लिस्ट से हटा दिया। इसकी यही वजह है। कि भारतीय जनता पार्टी ने उनके बताए गए है। नाम पर भरोसा नहीं जाते इस लिस्ट में सूची में संघ का पूरा तवज्जो नजर आ रहा है। कि संघ के अनुसार इस लिस्ट को बनाया गया है। जिससे 2023 के विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी राजस्थान में अपने आप को काबिज कर सके सत्ता में वापस आ सके।
भारतीय जनता पार्टी की तरफ से जो दांव मध्य प्रदेश में खेला गया। अब वही गांव राजस्थान में भी खेलते हुए दिखाई दे रहे हैं। 7 सांसदों को भारतीय जनता पार्टी ने पहले ही लिस्ट में उतार दिया अब सब की नजर दूसरी और तीसरी लिस्ट पर है कि किस तरीके से भारतीय जनता पार्टी यहां पर प्रत्याशियों को आगे उतरती है।