नई दिल्लीः डॉक्टर को इंसान के लिए भगवान के रूप में जाना जाता है, जो दिन-रात मेहनत कर लोगों की जान बचाते हैं। कुछ डॉक्टर ऐसे निकले जिन्होंने इस पेशे को कलंक लगाने का काम किया है, जिससे हर कोई शर्मसार हो जाता है। आज हम आपको एक ऐसे डॉक्टर के बारे में बतायने जा रहे हैं, जिसने इस लाइन को ही धूमिल कर दिया है।
सैफई मेडिकल विश्वविद्यालय यूनिवर्सिटी के कार्डियोलॉजिस्ट डॉक्टर समीर सर्राफ ने इस पवित्र पेशे को ही बदनाम करने का काम किया है। इसके साथ ही मरीजों को नकली पेसमेकर लगाने के आरोप में सैफई पुलिस ने इन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है। आप जब उनकी कारगुजारियों को जानेंगे तो आपका दिल हैरान रह जाएगा। इसके साथ ही 250 लोगों को ऑपरेशन करके नकली पेसमेकर लगाने के मामले में डॉक्टर समीर सर्राफ के खिलाफ शिकायत मिलने के बाद पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है।
दवाई खरीदने के नाम पर बड़ा घोटाला
सैफई मेडिकल विश्वविद्यालय में उपकरण खरीदने के नाम पर भी इस डॉक्टर ने लगभग ढाई करोड़ रुपये का चपत लगाया था। गजेटेड अधिकारियों और पुलिस जांच में डॉक्टर समीर सर्राफ दोषी पाए गए हैं। इसमें सैफई पुलिस ने आईपीसी की कई धाराओं में केस दर्ज कर उन्हें जेल भेजने का काम किया गया है। यह पूरा मामला फरवरी 2022 से शुरू हुआ था।
इसमें कुछ मरीजों ने पुलिस में जाकर डॉक्टर समीर के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई। इसमें कहा गया था की उनके हर्ट का ऑपरेशन करके नकली पेसमेकर लगा दिया है। उनको तकलीफ के दौर से गुजरना पड़ रहा है। वहीं, जांच समिति ने पाया कि सर्राफ ने पेसमेकर के लिए मरीज से 1.85 लाख रुपये लिए थे। यह तय राशि 96,844 रुपये से लगभग दोगुना है। इसके साथ ही रिश्वत लेते सीसीटीवी वीडियो वायरल था। वायरल वीडियो के बाद मामले की गंभीरता को देखते हुए सैफई थाने की पुलिस ने 17/22 में धारा 7, 8, 9, 13 के तहत मामला दर्ज कर लिया।
डॉक्टर की गिरफ्तारी के बाद वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक संजय कुमार के मुताबिक, 2022 में एक केस दर्ज करने के बाद इस मामले की जांच गजेटेड अधिकारी और पुलिस कर रही। उनकी इनकी गिरफ्तारी को लेकर शासन को चिट्ठी लिखी गई थी। इसके बाद बाद वहां से अनुमति मिलने पर डॉक्टर को गिरफ्तार करने का काम किया गया है।