नई दिल्ली- कर्नाटक में बीजेपी ने विधानसभा चुनाव के दौरान कथित तौर पर पार्टी गतिविधियों में शामिल होने को लेकर 11 पार्टी कार्यकर्ताओं को नोटिस भेज दिया बताया जा रहा है कि यह नोटिस उन लोगों को भेजा गया है जो पार्टी नेताओं के खिलाफ सार्वजनिक बयान दे रहे थे। यही नहीं बीजेपी ने पार्टी विरोधी गतिविधियों की जांच करने और इसमें शामिल लोगों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही करने का फैसला किया है और इस दौरान जांच पड़ताल शुरू कर दी गई है।
आपको बता दें शुक्रवार को बीजेपी नेताओं की बैठक हुई जिसमें पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही करने का फैसला लिया गया इस बैठक में पार्टी अध्यक्ष नलिन कुमार कातील और पूर्व मुख्यमंत्री और संसदीय बोर्ड के सदस्य बीएसडी सहित अन्य लोग शामिल हुए।
बैठक के बाद अध्यक्ष नलिन कुमार कतील ने बताया चुनाव के दौरान पार्टी में रहने के बाद भी पार्टी गतिविधियों के खिलाफ बोलने वाले लोगों के खिलाफ यह कार्यवाही की गई है। और उन लोगों को यह नोटिस भेजे गए। हमने उन लोगों पर व्यक्तिगत रूप से बात की जो ऐसा बयान दे रहे थे। और जिसके कारण पार्टी को शर्मिंदगी उठानी पड़ी उन्हें नोटिस जारी कर स्पष्ट रूप से कहा गया कि भविष्य में इस तरह का बयान दोबारा ना दे।
दूसरे सवाल पर उन्होंने कहा कि हमने 11 लोगों को नोटिस भेजा है। वहीं पार्टी के दिशा निर्देश पर उनके खिलाफ बयान देने पर यह नोटिस भेजी गई है। और उनसे कहा गया है। कि दोबारा ऐसा बयान ना दें। जिससे बीजेपी को शर्मिंदगी उठानी पड़े। उन्होंने आगे कहा कि हमने ऐसे बयान देने वाले लोगों को बुलाया है और उनसे बात की है।
अब इसको लेकर विपक्ष भी निशाना साध रहा है कहना है कि जब अपने ही पार्टी के लोग पार्टी की पोल खोल रहे हैं तो हम विपक्षी क्यों ना सच दिखाएं। नोटिस जारी होने के बाद बयान देने वाले बीजेपी के नेता क्या सफाई देते हैं और कौन सी चीजें तू निकलकर सामने आती है कि इस बयान को लेकर सरगर्मियां तेज होती हैं और क्या कुछ होता है यह अब देखने वाली चीज होगी।