नई दिल्ली EPFO Withdrawal Rules: हर किसी को पैसों की जरुरत होती है। कई बार हमें इसके लिए लोन का भी सहारा लेना होता है। यदि आप औपचारिक क्षेत्र में काम करते हैं तो आपका हर महीने पीएफ जमा होता है।
पीएफ सदस्य को ईपीएफओ की तरफ से काफी सारी सुविधाएं मिलती है। इसमें जरूरत के समय एडवांस भी मिलता है। बहराल इसके लिए कुछ नियम भी तय किए गए हैं। इसके मुताबिक आप पीएफ खाते से एडवांस भी निकाल सकते हैं। इस आर्टिकल में हम जानेंगे कि आप पीएफ से कब-कब और कितना निकाल सकते हैं।
पीएफ खाते से पैसा निकालने का नियम
पीएफ खाते से पैसा आप घर के लिए जमीन खरीदने, घर को रिपेयर कराने, परिवार के सदस्य या खुद की शादी, होम लोन, परिवार के सदस्य के इलाज के लिए, बच्चों की पढ़ाई के लिए, नौकरी छूटने पर आदि अवस्था में पैसा निकाल सकते हैं। जानें आप इसके आसान नियम।
अगर आप परिवार में कोई भी सदस्य या फिर हॉस्पिटल में एक महीन से ज्यादा समय से भर्ती है या फिर कोई भी गंभीर बीमारी और गंभीर होना है। फिर आप अपने पीएफ खाते से छह महीने की सैलरी के बराबर पैसा निकाल सकते हैं।
परिवार के किसी भी सदस्य या फिर खुद की शादी है तो भी पीएफ खाते से पैसा निकाल सकते हैं। बहराल ये शर्त ये है कि आपको नौकरी में 7 साल जरुर पूरे किए जाने चाहिए। पीएफ से पैसा सिर्फ अपने कंट्रीब्यूशन का 50 फीसदी तक निकाल सकते हैं।
नौकरी छूटने पर भी पीएफ से पैसा निकलने की सुविधा भी दी जाती है। यदि किसी वजह से 15 दिन से ज्यादा से आपकी कंपनी क्लोज चल रही है। दो महीने से ज्यादा समय से काम पर नहीं गए हैं तो आप पीएफ में जमा अपने पूरे हिस्से की निकासी कर सकते हैं।
घर खरीदने के लिए भी आप पीएफ से पैसा निकाल सकते हैं। ये एडवांस मैक्जिमम आपकी 36 महीने की सैलरी के बराबर हो सकता है। इसके लिए शर्त ये है कि नौकरी के 5 साल पूरे होने चाहिए।
वहीं घर बनवाने के लिए जमीन खरीदने और घर के रिफेयर के लिए भी आप पीएफ से निकासी कर सकते हैं। नौकरी के शुरू होने के 5 सालों के बाद भी सुविधा मिलती है। वहीं घर बनवाने के लिए घर खरीदने के लिए 24 महीने और घर के रिफियर के लिए 12 महीने की सैलरी का पैसा निकाल सकते हैं।
होम लोन चुकाने के लिए आप 36 महीने की सैलरी के बराबर पैसा निकाल सकते हैं। बहराल इसके लिए आपको नौकरी में 10 साल पूरे होने चाहिए। खुद की और बच्चों की शिक्षा पूरी करने के लिए पीएफ से एडवांस निकाला जा सकता है। इसके लिए आपकी 7 साल की नौकरी पूरी होनी चाहिए। इसमें आप पैसा अपने कंट्रीब्यूशन से 50 फीसदी से ज्यादा नहीं निकाल सकते हैं।