नई दिल्ली National Pension System: अगर आप एनपीएस का लाभ उठा रहे हैं तो आपको बहुत ही जल्द खुशखबरी मिल सकती है। जी हां एनपीएस खाते से सिस्टमेटिक लंप सम विड्रॉल लिमिट को बढ़ाकर 100 फीसदी तक दिया जा सकता है। जिससे कि फंड एनपीएस कॉपर्स के तहत एक लंबे समय तक बना रहे।
जानकारी के लि बता दें PFRDA के चेयरपर्सन डॉक्टर दीपक मोहंती ने NPS सब्सक्राइबर्स को एक खास ऑप्शन दिया था। इस ऑप्शन के साथ में यूजर्स एसएलडब्ल्यू के द्वारा एक लंप सम राशि को अलग-अलग फेज में निकाल सकते हैं।
अभी 60 फीसदी तक का फंड निकालने की सुविधा
नए नियम के अनुसार, एनपीएस सब्सक्राइबर्स मंथली, तिमाही, छमाही और रोज की उपयोगिता पर पेंशन कॉपर्स का 60 फीसदी तक का पैसा निकाल सकते हैं। ये सुविधा साधारण एग्जिट के समय से शुरु होकर 75 सालों तक की आयु तक पेश है।
एसएलडब्ल्यू के द्वारा सब्सक्राइबर्स समय-समय पर अपनी जरुरत के अनुसार, एक छोटी राशि विड्रा कर सकते हैं इसके साथ में ही सब्सक्राइबर्स अपने एनपीएस कॉपर्स के बचे हुए फंड पर भी कंपाउंड बेनिफिट का लाभ उठाते रहेंगे।
पीएफआरडीए के चेयरपर्सन का नाया प्रस्ताव यदि लागू होता है तो सब्सक्राइबर्स को एनपीएस पहले से ज्यादा पसंद आ सकता है। डॉक्टर मोहंती ने इस बारे में जोर देकर कहा कि कॉर्पोरेट सेक्टर में काम कर रहे कर्मचारियों को टैक्स बेनिफिट के लिए अपने एनपीएस कंट्रूब्यूशन को भी बढ़ाकर 12 फीसदी किया जा सकता है।
PFRDA चेयरपर्सन दीपक मोहंती ने देश में सोशल और डेमोग्राफिक बदलाव पर बात करते हुए कहा कि पेंशन को इंटरलिंक करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि पेंशन कॉपर्स कुछ देशों में जीडीपी का सौ फीसदी पार किया जा चुका है। बहराल देश में औसत पेंशन एसेंट्स अभी तकरीबन 16.5 फीसदी के आसपास है।
चिंतन शिविर में सेक्रेटरी, डॉक्टर विवेक जोशी ने कहा कि देश काफी तेजी से बढ़ रहा है और यहां पर लॉग टर्म निवेश के लिए काफी सारे फंड की आवश्यकता है। और इनवेस्ट के काफी अवसक इंन्फ्रास्ट्रक्चर स्पेस में पेश है
जो कि एनपीएस के तहत निवेश के लिए जरुरी मैच्योरिटी प्रोफाइल से मैच करता है उन्होंने आगे कहा कि एनपीएस के तहत एनरोमेंट प्रोसेस को आसान बनाने की आवश्यकता है और इसके कठिन प्वाइंट्स को हल करना होगा।