नई दिल्ली EPFO Higher Pension: अगर आप ईपीएफओ सब्सक्राइबर्स हैं तो ये खबर आपके लिए बेहद खास हो सकती है। आपको बता दें इस समय हायर पेंशन को लेकर काफी तेजी से चर्चा हो रही है। आवेदन करने की आखिरी तारीख खत्म हो गई है। ऐसे में लोग हायर पेंशन स्कीम को लेकर कंफ्यूज हैं। ज्यादा पेंशन के लिए इस स्कीम को चुनना होगा और इसको इग्नोर करना है। इसके अलावा सबसे ज्यादा सवाल लोगों के मन में इस बात को लेकर कैसे आवेदन करें। क्या करें अपने इंप्लॉयर से कॉन्टैक्ट करना होगा। आज हम आपके आवेदन करने के आसान तरीके बताएंगे, जिससे आप घर बैठे आवेदन कर सकते हैं। इसके अलावा इससे जुड़ें सभी सवालों को देने का प्रयास कर रहे हैं।
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अगर ईपीएफओ सब्सक्राइबर्स के पास 2 सदस्य हैं तो पहला ईपीएफ और दूसरा ईपीएस जिसमें पेंशन की रकम जमा होती है। कर्मचारी के बेसिक और डीए से हर महीने 12 फीसदी रकम काटकर ईपीएफ में डाली जाती है। इतनी रकम नियोक्ता की ओर से जमा की जाती है। लेकिन यहां पर थोड़ा समझना जरुरी है,क्यों कि इंप्लॉयर कर पूरा कंट्रीब्यूशन ईपीएफ खाते में नहीं जमा है तो 12 फीसदी में से 8.33 फीसदी राशि ईपीएफ में जमा की जाती है, जबकि 3.67 फीसदी राशि ईपीएस खाते में डाली जाती है। लेकिन हायर पेंशन चुनने पर नियोक्ता के कंट्रीब्यून में बदलाव होता है, जिसके बारे में आप विस्तार से जानेंगें।
क्या है ईपीएस-95
पब्लिक सेक्टर में काम कर रहे सभी कर्मचारियों के हित में सरकार ने साल 1995 को एक नया कानून लागू किया था। इस कानून का उद्देश्य प्राइवेट सेक्टर में काम करने वाली पेंशन का लाभ मिल सके। ये कानून जब बना था तब ईपीएफओ में कंट्रीब्यूशन के लिए मैक्जिमम सैलरी 6500 रुपये तय किया गया था। इसे बाद में बढ़ाकर 15 हजार रुपये कर दिया गया है। इसी से 8.33 फीसदी भाग पेंशन फंड में जाता है। इस बीच 2014 में बदलाव किया गया था। जिसके बाद कंट्रब्यूशन फंड में छूट मिल जाती है।
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EPFO में कितनी मिलेगी पेंशन
इस हिसाब से अगर नौकरी के आखिरी 60 महीने की औसत सैलरी 20 हजार रुपये है तो फिर इस रकम में कुल 7 साल का गुणा करना है और फिर उसमें 70 से भाग कर दिया जाएगा। इस प्रकार 10 हजार रुपये महीने ईपीएफओ में पेंशन मिलने की संभावना ज्यागा रहती है। अगर किसी की एक लाख सैलरी है तो फिर इस इस फॉर्मूले से पेंशन 50 हजार रुपये महीने के हिसाब से मिलेगी। जो कि 15,000 बेसिक फॉर्मूले से 42,500 रुपये अधिक है। EPFO में 15,000 रुपये बेसिक फॉर्मूले से पेंशन हर महीने 60 साल के बाद 7500 रुपये बन रही थी।