नई दिल्लीः बिहार में सियासी उठा पटक के बाद नीतीश कुमार में ने राजभवन में 9वीं बार सीएम पद की शपथ ले ली। राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अर्लेकर ने नीतीश कुमार के साथ दो डिप्टी सीएम भी शपथ दिलाई। डिप्टी सीएम की शपथ लेने वाले सम्राट चौधरी और विजय कुमार सिन्हा दोनों ही बीजेपी खेमे से हैं।
नीतीश कुमार ने चार साल में तीसरी बार सीएम पद की शपथ ली है। इससे पहले नीतीश कुमार महागठबंधन के साथ थे, लेकिन रिश्तों में खटास आई और वे एनडीए के साथ चले गए। शपथ के बाद अब कैबिनेट की बैठक होगी, जिसमें कुछ बड़े फैसले लिए जा सकते हैं। कार्यक्रम में बीजेपी की ओर से कई दिग्गज नेता शामिल रहे।
साल 2020 में एनडीए के साथ लड़ा था चुनाव
नीतीश कुमार की जेडीयू ने साल 2020 का विधानसभा चुनाव एनडीए के साथ लड़ा था। इस चुनाव में जेडीयू का प्रदर्शन काफी खराब रहा था, जिसे मात्र 43 सीटें मिली। बिहार में सबसे बड़ी पार्टी आरजेडी बनी जिसे 75 सीटें मिली थीं। बीजेपी को 74 सीटें मिली थी।
इसके बाद अगस्त 2022 में नीतीश कुमार ने फिर पलटी मारी और उन्होंने लालू प्रसाद यादव के साथ मिलकर सरकार बना ली। सबकुछ ठीक चलता रहा, लेकिन ठीक 17 महीने बाद खबर आने लगी कि आरजेडी और जेडीयू के बीच सबकुछ ठीक नहीं रहा और नीतीश कुमुार ने फिर अपनी अलग राह पकड़ ली। नीतीश कुमार ने 9वीं बार सीएम पद की शपथ ली।
आरजेडी ने बोला हमला
आरजेडी के नेता और राज्य के पूर्व डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने नीतीश कुमार के रवैये पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि बिहार की जनता जल्द ही न्याय देगी। हमने 17 महीने की सरकार में वो कर दिखाया जो 17 साल में नहीं हो पाया था। इस दौरान उन्होंने बीजेपी के सभी नेताओं को धन्यवाद दिया और अपनी लड़ाई जारी रखने की बात कही।
दोपहर दिया था इस्तीफा
जानकारी के लिए बता दें कि रविवार को साढ़े 11 बजे, नीतीश कुमार ने जेडीयू विधायक दल की बैठक के बाद बिहार के मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देकर सबको चौंका दिया था। उन्होंने राज्यपाल राजेंद्र आर्लेकर को अपना इस्तीफा सौंपा और मीडिया के सामने कहा कि गठबंधन में स्थिति ठीक नहीं थी और वह अब एक नई सरकार बनाई।