Incorrect UPI payment. आज के समय में लोग चाय के पेमेंट करने से लेकर मॉल में हर जगह यूपीआई पेमेंट कर रहे हैं। यूपीआई पेमेंट लगातार बढ़ रहा है लोग अपने जेब में कैश तो बिल्कुल ही नहीं रखते हैं।  लेकिन कई बार देखने में आता है कि लोगों को किसी गलत पेमेंट करने में शिकार हो जाते हैं। ऐसे में आपकी कमाई डूब सकती है। अगर आप इन कदम को उठाते हैं तो आपको घबराने की जरूरत नहीं है।

अगर आपको गलत यूपीआई पेमेंट हो जाए तो भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम ( NPCI )के एक नियम से पैसा मिल सकता है। जी हां बता दें कि एनपीसीआई ने अब बैंकों को यह अधिकार दिया गया है कि वे फ्राड, फेल हुए लेनदेन न या व्यापारियों की शिकायतों जैसे UPI पेमेंट विवादों पर अपने आप कार्रवाई कर सकेंगे। जिससे यहां पर NPCI से पहले अनुमति की जरुरत नहीं होगी। हालांकि अधिकतर लोगों को यह जानकारी नहीं होती है, कि इस सुविधा को लाभ उठा सकें और अपने पैसे के वापसी के लिए प्रयास कर पाएं।

दरअसल आप को बता दें कि एनपीसीआई के एक सर्कुलर (नंबर 184B/2025-2026) के अनुसार, बैंक सीधे ‘अच्छी नीयत’ से असली ग्राहक विवादों के लिए चार्जबैक शुरू कर सकते हैं। हालांकि पहले की कुछ अपीलें खारिज हो चुकी हों, अब उन्हें NPCI से पहले मंजूरी लेने की जरूरत नहीं है।

RGNB के तरह इन लेनदेन पर लागू

भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम ने UPI शिकायतों पर ऐसे कई नियम बनाएं है, जिसमें से RGNB भी है। इसके तहत UPI शिकायतों पर लागू होता है जहां ग्राहक अपने पैसा रिफंड चाहते हैं, अगर किसी का अनधिकृत लेनदेन हुआ है, जैसे किसी उपयोगकर्ता के खाते से धोखाधड़ी से पैसे भेजे गए, फेल हुए UPI भुगतान जहां पैसे कट गए लेकिन प्राप्तकर्ता को नहीं मिले, व्यापारी विवाद और डुप्लीकेट/गलत भुगतान गलती से दो बार पैसे ट्रांसफर करना में RGNB के तहत मामले में राहत मिल सकती है।

देश में हुए 1.4 बिलियन लेनदेन

NPCI के द्धारा जारी किए ऑकड़ों के अनुसार देश में साल 2025 में UPI द्वारा हर महीने 11.4 बिलियन से अधिक लेनदेन दर्ज हुए है। जिससे NPCI चाहती है कि लोगों को इस डिजिटल पेमेंट करने में कोई परेशानी ना आए ओर लोगों को इस पर भरोसा बना रहे। जिससे NPCI को मिल रही शिकायतों का निपटान करता है।