नई दिल्ली: ज्यादा उम्र के दौरान कुछ बातों का ध्यान रखना अहम हो जाता है । वहीं इसकी बात की जाए तो परवाह और आर्थिक सुरक्षा। अब आपका जीवन आखिरी पड़ाव पर वही संचित धन अगर बुज़ुर्गों के जीवन काफी आसान होने वाला है, तो फिर कुछ बातों का ध्यान देना होता है। सीनियर सिटिज़न सेविंग स्कीन 2023 में प्रस्तावित बदलाव को लेकर उम्मीद जगाई है। सरल शब्दों मे इसकी जानकारी चेक कर लेते हैं।
बदलाव कैसे आएगा
सीनियर सिटिज़न यानि वरिष्ठ नागरिकों की बात करें तो अब सीनियर सिटिज़न सेविंग स्कीम (SCSS) में अधिक राशि जमा करने का शानदार अवसर मिल गया है। अभी तक SCSS के तहत अधिकतम जमा सीमा निर्धारित हो गई है । वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को बात करें तो प्रस्ताव रखा था कि इस बचत योजना के अनुसार जमा सीमा को बढ़ाकर 30 लाख रुपये करने जा रहे हैं।
अधिक जमा राशि-अधिक ब्याज
SCSS योजना के मुताबिक जमा राशि पर 5 वर्षों के लिए ब्याज मिलने जा रहा है। SCSS के लिए वर्तमान ब्याज दर 8% है। अब चूँकि जमा राशि की सीमा बढ़ने की उम्मीद लगाई जा रही है। तो निश्चित रुप से ब्याज से प्राप्त होने वाली राशि भी काफी ज्यादा होती है। मान लीजिए कि एक दंपत्ति ने 30 लाख रुपये का निवेश कर दिया है तो उन्हें 60 हजार रुपए का त्रैमासिक ब्याज मिलने वाला है यानि कि 20 हज़ार रुपये महीने का फायदा। हालांकि 30 लाख रुपये जमा किया जाने को लेकर अनिवार्य नहीं किया गया है। पर निश्चित रूप से कम जमा राशि पर ब्याज कम जीने वाला है।
इस पड़ाव पर जीवन होगा इंसान
यह वह उम्र काफी रह चुके हैं। जब व्यक्ति अपनी काफी सारी ज़िम्मेदारियों से राहत मिल चुकी है। बच्चों की पढ़ाई-लिखाई, शादी-ब्याह जैसी ज़िम्मेदारियां को निपटाया जा चुका है। इसलिए इस उम्र मैं ने पति-पत्नी के लिए 20 हज़ार रुपये तक मासिक काफी माना होता है। फिर उनकी जमा राशि भी उन्हीं की मानी जा रही है।