नई दिल्ली SBI Saving Account: अगर आपके घर में कोई नाबालिग हैं तो आप भी अपना सेविंग खाता बैंक में ओपन कर सकते हैं। देश का सबसे बड़ा बैंक एसबीआई भी नाबालिगों के लिए सेविंग खाता ओपन करने की भी सुविधा देता है। बैंक PehlaKadam और PehliUdaan कैटेगरी में खाता ओपनिंग की सुविधा देता है। इस बैंक से ऐसे खाता ओपन होने के काफी सारे बेनिफिट्स हैं।
ऑफिशियल वेबसाइट के अनुसार, SBI नाबालिग के बैंक खाता ओपन होने से न सिर्फ बच्चों को पैसे बचाने के महत्व को सीखने में सहायता करता है। बल्कि वह उनको पैसे की क्रय शक्ति के साथ प्रयोग करने की भी परमीशन देता है।
औसत बैलेंस का कोई चक्कर ही नहीं
SBI के नाबालिग कैटेगरी वाले सेविंग खाते में कम से कम बैलेंस बनाएं रखने का कोई झंझट ही नहीं है। ऑफिशियल वेबसाइट के अनुसार इस प्रकार के खाते में नाबालिग ग्राहक 10 लाख रुपये तक का मैक्जिमम बैलेंस रख सकते हैं। इसमें चेक बुक भी मिलता है।
इसमें स्पेशल रूप से डिजाइन की गई चेकबुक माता-पिता के अधीन नाबालिग के नाम पर पर माता-पति को जारी की जाती है। लेकिन यदि नाबालिग समान के रूप से हस्तक्षर कर सकता है तो स्पेशली डिजाइन की गई चेकबुक मिलती है।
डेबिट कार्ड भी होता है जारी
नाबालिग सेविंग खाते में डेबिट कार्ड भी जारी किया जाता है इसमें नाबालिग की फोटों भी छपी होती है। इस कार्ड से 5 हजार रुपये तक की निकासी कर सकते हैं। इसी प्रकार मोबाइल बैंकिंग की भी सुविधा मिलती है जिसके तहत 2 हजार रुपये तक के बिल पेमेंट, टॉप या आईएमपीएस हर रोज किया जा सकता है।
पहलाकदम कैटेगरी के बैंक खाते में मातापिता के साथ में ज्वाइंट खाता खोला जाता है जबकि पहलाकदम कैटेगरी के तहत 10 साल से ज्यादा आयु का नाबालिग जो कि हस्ताक्षर कर सकता है। अपने नाम से खाता खुलवा सकता है।
दस्तावेजों दने पर क्या होगा
SBI की ऑफिशियल वेबसाइट के अनुसार, खाता खोलने के लिए नाबालिग का बर्थ सर्टिफिकेट और पैरेट्स का केवाईसी की आवश्यकता होगी। सेविंग बैंक खाते पर लागू ब्याज दर की तरह कैलकुलेशन हर रोज बैलेंस पर की जाती है।
आप चाहें तो खाता संख्या बदलने बिना किसी भी SBI शाखा में खाते का ट्रांसफर कर सकते हैं। इसके साथ में नॉमिनी को सुविधा पेश है। स्पेशल रूप से डिजाइन की गई ब्रांडेंड पासबुक निशुल्क जारी की जाती है।