नई दिल्ली: दुनिया के कई देशों में इस समय संघर्ष चल रहा है। कुछ देश दूसरे देशों के साथ युद्ध (War) Wकी स्थिति में हैं, तो कई देशों में आंतरिक संघर्ष देखने को मिल रहा है। ऐसे में अब एक और मुस्लिम देश में सत्ता में तख्तापलट की स्थिति बनती दिख रही है। जी हां.. वो देश है तुर्की, जहां के खलीफा राष्ट्रपति रेसेप तैयप एर्दोगन हैं। तुर्की के हजारों लोग इस समय देश के नेता रेसेप तैयप एर्दोगन के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने के लिए सड़कों पर उतरे हुए हैं। देश में हालात अब इतने बिगड़ चुके हैं कि तुर्की प्रशासन ने अगले 4 दिनों तक देश में किसी भी तरह के प्रदर्शन पर रोक लगा दी है।

गिरफ्तार करवाने में व्यस्त हैं

पिछले कुछ सालों में तुर्की के खलीफा रेसेप तैयप एर्दोगन दुनिया के दूसरे देशों की राजनीति में दखल देते नजर आए हैं, फिर चाहे वो सीरिया हो या गाजा। यहां तक ​​कि कई बार खलीफा एर्दोगन खुद को मुस्लिम दुनिया का नेता साबित करते और सऊदी अरब और ईरान को सीधे तौर पर चुनौती देते नजर आए हैं। लेकिन अब उनके अपने देश में उनकी राजनीतिक जड़ें कमजोर हो गई हैं और देश में अपनी सत्ता बनाए रखने के लिए वह अपने सभी विरोधियों को गिरफ्तार करवाने में व्यस्त हैं।

संदिग्ध नेता बताया है

तुर्की के प्रमुख शहर इस्तांबुल के मेयर एक्रेम इमामोग्लू की गिरफ़्तारी के बाद गुरुवार (20 मार्च) को हज़ारों की संख्या में प्रदर्शनकारी इस्तांबुल की सड़कों पर उतर आए। सेक्युलर रिपब्लिकन पार्टी (CHP) के नेता और इस्तांबुल के मेयर एक्रेम इमामोग्लू तुर्की में विपक्षी नेता और राष्ट्रपति एर्दोआन के बड़े प्रतिद्वंद्वी माने जाते हैं। अभियोजकों ने इमामोग्लू पर भ्रष्टाचार और एक आतंकवादी समूह की सहायता करने का आरोप लगाया है और उन्हें एक आपराधिक संगठन का संदिग्ध नेता बताया है।

लोगों को गिरफ़्तार किया

खलीफा पुलिस ने जांच के तहत 100 से ज़्यादा लोगों को गिरफ़्तार किया है। इसमें देश के पत्रकार, राजनेता और व्यापारी शामिल हैं। वहीं, उनकी गिरफ़्तारी के बाद लोगों के गुस्से को देखते हुए इस्तांबुल गवर्नर ऑफ़िस ने 4 दिनों के लिए किसी भी तरह के प्रदर्शन पर रोक लगा दी है। इसके बाद इमामोग्लू ने सोशल मीडिया पर लिखा कि “लोगों की इच्छा को दबाया नहीं जा सकता।” तुर्की में विरोध प्रदर्शनों पर चार दिन के प्रतिबंध के बावजूद, हजारों लोग इस्तांबुल के पुलिस मुख्यालय, सिटी हॉल और इमामोग्लू के पार्टी कार्यालय के बाहर एकत्र हुए और इमामोग्लू की गिरफ्तारी को अवैध और निराधार बताया।

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