Nijala Ekadashi : निर्जला एकादशी पर जरुर करें तुलसी के पौधे के यह टोटके बना देंगें मालामाल

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Pooja Kanjani

Nijala Ekadashi : निर्जला एकादशी, जिसे भीम एकादशी भी कहा जाता है, हिंदू धर्म में एक महत्वपूर्ण तिथि मानी जाती है। यह एकादशी व्रत का विशेष रूप है जिसमें व्रतार्थी भोजन का सेवन नहीं करते हैं और पूरे दिन निर्जल रहते हैं। यह व्रत भगवान विष्णु की उपासना में विशेष महत्व रखता है। निर्जला एकादशी के दिन, लोग भगवान विष्णु की पूजा करते हैं और उन्हें व्रतार्थी भोजन या जल का सेवन नहीं करते हैं। इसे मान्यता से कहा जाता है कि इस व्रत को अनुष्ठान करने से व्रतार्थी की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं और उन्हें भगवान विष्णु की कृपा प्राप्त होती है। निर्जला एकादशी का उपाय करने से भगवान विष्णु के साथ-साथ माता लक्ष्मी की कृपा भी मिलती है। लोग इस दिन विष्णु सहस्त्रनाम का पाठ करते हैं और विष्णु के मंत्रों का जाप करते हैं। यही नहीं इस दिन तुलसी से जुड़े भी कई उपाय भी किये जाते है :

चरणामृत और पंजीरी का भोग लगाये :

निर्जला एकादशी के दिन भगवान विष्णु के लिए चरणामृत और पंजीरी का भोग लगाने में तुलसी के पत्तों का उपयोग किया जाता है। तुलसी को हिंदू धर्म में पवित्र माना जाता है और उसके पत्तों का उपयोग भगवान की पूजा में विशेष रूप से किया जाता है। इसलिए, निर्जला एकादशी के दिन चरणामृत और पंजीरी का भोग लगाते समय तुलसी के पत्तों का उपयोग करना उचित होता है।

तुलसी के पौधे पर घी का दीपक जलाये :

निर्जला एकादशी के दिन तुलसी के पौधे में शाम के समय घी का दीपक जरूर जलाएं। साथ ही भगवान विष्णु के मंत्र का जप करें। 11 बार तुलसी के पौधे की परिक्रमा भी करें। इस उपाय से घर में यदि कलेश रहता है तो वह समाप्त हो जाता है और सुख शांति और खुशहाली बनी रहती है। निर्जला एकादशी के दिन तुलसी के पौधे में घी का दीपक जलाना, भगवान विष्णु के मंत्र का जप करना और पौधे की परिक्रमा करना आपके घर को सुख, शांति और खुशहाली की ओर ले जाता है।

Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. Timesbull.com इसकी पुष्टि नहीं करता है। किसी भी मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें।

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